आपने हनुमान और  गणेश जी को  अलग-अलग सुना  होगा…

पर क्या होता है  जब ये दोनों  साथ आते हैं?

गणेश जी ने हिमालय की गुफाओं में पत्थरों पर एक दिव्य रामायण लिखी थी… 

शर्त थी – इसे वही पढ़  सकेगा जिसका मन  पूरी तरह निर्मल हो। 

हनुमान जी ने तप और  भक्ति से मन को राम नाम  में विलीन कर दिया। 

Collectible India Hanuman Idol Meditiating Statue Strength God  Bajrangbali Sculpture

गणेश जी ने अनुमति  दी… लेकिन हनुमान  जी ने कुछ  अलग ही किया।

ग्रंथ पढ़ने के बजाय  हनुमान जी ने  केवल राम का नाम  अपने हृदय  में बसाया।"

जहाँ हनुमान का नाम होगा, वहाँ गणेश  का भी होगा।

ज्योतिष में  गणेश = बुध 

हनुमान = मंगल 

साथ हों तो बुद्धि+बल  का अद्भुत योग। 

बुद्धि और बल  का संतुलन  ही सच्ची  सफलता है

"इस Hanuman and Ganesha mysterious story से आप  क्या सीखते हैं?"

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